10 वर्षीय लव कुमार अपहरण और हत्याकांड का गिरिडीह के जमुआ पुलिस ने किया खुलासा, पांच अपराधी गिरफ्तार
फिरौती के लिए किया गया था अपहरण, मुंह मंे सैलोटैप चिपका कर डाला पड़ौसी गांव के कुंए मंे
पांचो के फांसी देने की उठी मांग, जमुआ में ग्रामीणों में भड़का आक्रोश
गिरिडीहः
10 वर्षीय लव कुमार प्रभाकर हत्याकांड का खुलासा गिरिडीह के जमुआ थाना पुलिस शनिवार ने तो कर लिया। लेकिन हत्याकांड में शामिल पांच आरोपियों और बच्चे का शव जब पुलिस के साथ ग्रामीणों ने देखा। तो ग्रामीण आगबबूला हो गए। वैसे मासूम लव कुमार का शव देखकर पुलिस भी हैरान रह गई कि मासूम ने पांचो आरोपियों का क्या बिगाड़ा था। जिसे फिरौती के चंद रुपयों के लिए पांचो ने निर्दयता के साथ हत्या कर उसके शव को प्लास्टि के बोरे में बंद कर कुंए में फेंक दिया। ग्रामीणों ने पुलिस से पांचो आरोपियों को फांसी की सजा देने का मांग किया। तो पुलिस भी अब पांचो आरोपियों से सख्ती से पूछताछ कर रही है। गिरफ्तार आरोपियों में तीन आरोपी जहां मृत बच्चा लव कुमार के गांव ही से ही है। तो चाौथा उसी भानूडीह गांव का है। पांचवा आरोपी बिहार के जमुई जिला के सोनो थाना क्षेत्र तेतरिया गांव निवासी शांतनू वर्मा और चचघरा के महेश वर्मा आपस में साला-बहनोई है। तो चचघरा का बंसत पंडित, अजीत कुमार वर्मा और भानूडीह गांव का प्रवीण विश्वकर्मा है। पांचो आरोपियों ने गुरुवार को अपहरण की शाम ही बच्चे की हत्या का कुंए में फेंक दिया। लेकिन शुक्रवार को जब बच्चे के पिता को फोन कर बेटे की हत्या हो जाने की धमकी दिया। तो पुलिस काॅल करने वाले नंबर से पांचो तक पहुंच पाई।
गिरफ्तारी के बाद पांचो ने अपने अपराध कबूलते हुए बच्चे का शव भानूडीह गांव के कुंए में डालने की बात स्वीकारा। इन पांचो के निशानदेही पर ही पुलिस ने कुंए से शव को बाहर निकाला। कुंए में पानी अधिक होने के कारण पहले मोटर पंप से पानी निकाला गया। इसके बाद बच्चे के शव को बाहर निकाला गया। हत्याकांड का उद्भेदन के लिए एसपी के निर्देश पर तीन अलग-अलग टीम का गठन किया गया था। जिसमें एसडीपीओ मुकेश महतो, साइबर डीएसपी संदीप सुमन समदर्शी और डीएसपी संजय राणा शामिल है। पुलिस ने पांचो आरोपियों के पास से एक मोबाइल, एक बाईक और एक सैलोटेप बरामद किया है।
पुलिस की मानें तो बरामद सैलोटेप से ही लव कुमार का मुंह चिपका उसे पहले जूट और बाद में प्लास्टि के बोरे में बंद किया गया था। तो बरामद मोबाइल से लव कुमार अपहरण और हत्याकांड को अंजाम दिया गया। मोबाइल जहां आरोपी महेश वर्मा का बताया जा रहा है तो उसमें लगा सीम कार्ड उसके बहनोई शांतनू वर्मा का है। 20 हजार और एक नया कीमती मोबाइल का का लालच देकर महेश ने अपने बहनोई शांतनू वर्मा को इस घटना में शामिल कर उसके सीम कार्ड का इस्तेमाल मृत बच्चे के पिता रामकुमार शर्मा को फोन कर मारने की धमकी दिया था। जानकारी के अपहरण और हत्याकांड की पूरी प्लानिंग महेश वर्मा ने तैयार किया था।
दरअसल, मृत बच्चे के दादा एक सेवानिवृत शिक्षक है। लिहाजा, महेश ने अपने बहनोई समेत चारों आरोपियों को भारी-भरकम पैसे मिलने का लालच देकर लव के अपहरण की योजना बनाया। और बनाएं गए योजना के अनुसार गुरुवार दोपहर महेश अपने दो साथियों के साथ बच्चा लव के समीप पहुंचा। उस वक्त लव घर के समीप खलिहान मंे ही खेल रहा था। खेलने के दौरान ही लव को नया गेंद देने का लालच देकर उसका मुंह सैलोटेप से चिपका कर पहले जूट के बोरे में बंद कर दिया। इस दौरान महेश उस बच्चे को कुछ घंटे के लिए बंद बोरे में अपने घर पर रखा। इसके बाद उसका हत्या कर फिर प्लास्टि बोरे में भर भानूडीह गांव के कुंए में बोरे के साथ फेंक दिया।