गिरिडीह के खुखरा के पर्वतपुर गांव में निर्माणाधीन सीआरपीएफ कैंप में ग्रामीणों ने हमला कर 16 बाईक को किया क्षतिग्रस्त
कई और समान को भी तोड़ा, सरकार के कैंप निर्माण से आक्रोशित है इलाके के ग्रामीण
पहले निकाला जुलूस, फिर अचानक घुस गए कैंप में, किया तोड़फोड़
ग्रामीणों के आंदोलन का समर्थन करने पहुंचे थे स्थानीय सदर विधायक
लेकिन ग्रामीणों के प्लानिंग की नहीं थी भनक
गिरिडीहः
गिरिडीह के पीरटांड के खुखरा थाना क्षेत्र के पर्वतपुर गांव में निर्माणाधीन सीआरपीएफ सांतवी बटालियन कैंप में गांव के करीब एक हजार इलाके के ग्रामीणों ने अचानक हमला कर दिया था। पांरपरिक हथियार के साथ ग्रामीणों के इस भीड़ में महिलाएं और युवतियां भी शामिल थी। और इलाके में जुलूस निकाल कर सीआरपीएफ कैंप के निर्माण का विरोध कर रही थी। लेकिन जुलूस में शामिल जनसंख्या अचानक उग्र हुआ। और कैंप में घुसकर तोड़फोड़ करना शुरु कर दिया। बुधवार दोपहर को हुए घटना के दुसरे दिन गुरुवार को जो तस्वीरें सामने आई। वह काफी भयभीत करने वाला रहा। क्योंकि निर्माणाधीन कैंप में दर्जन भर से अधिक दो पहिया वाहनों को ग्रामीणों ने क्षतिग्रस्त किया। तो एक जेसीबी मशीन का शीशा भी तोड़ दिया था। घटना के दुसरे दिन कैंप निर्माण का कार्य पूरी तरह से ठप रहा। हालात देखने डुमरी एसडीपीओ नीरज सिंह भी पुलिस जवानों के साथ पहुंचे थे। ग्रामीणों के भय से निर्माण स्थल में कोई मजदूर और मिस्त्री तक नहीं पहुंचा। इधर बुधवार को सिर्फ कैंप पर हमला कर तोड़फोड़ किए जाने की बात सामने आई थी।
कैंप परिसर में क्षतिग्रस्त हालात में रखे बाईक सुरक्षा बल के जवानों ही बताएं जा रहे है। इन गाड़ियों से ही सुरक्षा बल के जवानों द्वारा इन इलाकों में एंटी नक्सल आॅपरेशन भी किया जाता था। घटना के वक्त स्थानीय सदर विधायक सुदिव्य कुमार सोनू भी मौजूद थे। और ग्रामीणों को समझाने का प्रयास किया। इसके बाद भी पर्वतपुर और पांडेयडीह गांव के ग्रामीण इतने आक्रोशित थे, कि घटना के वक्त अगर सीआरपीएफ जवानों ने संयम नहीं दिखाया होता। तो किसी बड़े घटना से इंकार नहीं किया जा सकता था। हालांकि इसे पहले ग्रामीणों द्वारा पर्वतपुर, पांडेयडीह गांव समेत कई इलाकों में पांरपरिक हथियारों के साथ जुलूस निकाला गया। निर्माणाधीन कैंप के चंद फासले पर सभा भी हुआ। इस सभा को स्थानीय सदर विधायक सोनू ने संबोधित कर बताया कि सीआरपीएफ कैंप का निर्माण केन्द्र सरकार द्वारा कराया जा रहा है। निर्माण कार्य से राज्य सरकार का कोई सरोकार नहीं। इस दौरान विधायक ने ग्रामीणों को भरोषा दिलाया कि कैंप के निर्माण से पहले वे ग्रामीणों को सीएम से मुलाकात कराएगें। सभा खत्म होने के बाद ग्रामीणों ने जुलूस निकाला। और जुलूस की शक्ल में ही निर्माणाधीन सीआरपीएफ कैंप में घुस गए। और जमकर तोड़फोड़ किया। इस दौरान ग्रामीणों के हाथ जो आया। उसका गुस्सा वे उसी पर निकालते चले गए। सारी घटना खुखरा थाना पुलिस और सीआरपीएफ के मौजदूगी में हुआ। लेकिन जवानों ने घटना का विरोध नहीं किया।
दरअसल, पर्वतपुर में सीआरपीएफ जवानों के लिए स्थायी कैंप का निर्माण कराया जा रहा है। जबकि इसी पर्वतपुर से डेढ़ किमी की दूरी पर अवस्थित पांडेयडीह गांव में गिरिडीह के कुख्यात इनामी माओवादी अजय महतो का भी घर है। इलाके के आदिवासियों का विरोध इस बात को लेकर है कि पर्वतपुर में स्कूल और अस्पताल के बजाय सरकार सीआरपीएफ कैंप का निर्माण करा रही है। और इसी का विरोध पिछले कई दिनों से डुमरी और पीरटांड के इलाके में किया जा रहा है।