किसानों के समर्थन मे वाम व धर्मनिरपेक्ष दलों का विरोध प्रदर्शन पांच को
कोडरमा। देश में जारी किसान आंदोलन के समर्थन मे वाम व धर्मनिरपेक्ष दल सामाजिक और जनसंगठनों के साथ मिलकर व्यापक आंदोलन का आह्वान किया है। इसकी तैयारी को लेकर गुरूवार को कांग्रेस कार्यालय में वामपंथी दलों और धर्मनिरपेक्ष पार्टियों की संयुक्त बैठक आयोजित हुई। बैठक की अध्यक्षता राजद के जिलाध्यक्ष रामधन यादव ने की। बैठक में सर्वप्रथम किसान आंदोलन में शहीद चार किसानों के प्रति शोक व्यक्त किया गया। इस दौरान किसानों के आंदोलन के साथ एकजुटता व्यक्त करते हुए आंदोलन की रणनीति बनाई गई। जिसमें सर्वसम्मति से आगामी 5 दिसंबर को जिला मुख्यालय पर विरोध प्रदर्शन के तहत एकदिवस संयुक्त धरना देने का निर्णय लिया गया। 9 दिसंबर को मशाल जुलूस और 10 दिसंबर को राज्यव्यापी चक्का जाम पर भी विचार किया गया। वक्ताओं ने कहा कि केंद्र की मोदी सरकार मजदूर किसान विरोधी है। दिल्ली के सीमाओं पर कृषि क्षेत्र में तीन काला कानून को वापस लेने के खिलाफ लड़ रहे किसानों के आंदोलन को कुचलने के लिए मोदी सरकार, उस पर पानी के बौछार और आंसू गैस छोड़े जा रहे हैं। केंद्र सरकार की दमनकारी नीतियों के खिलाफ संघर्ष जारी रहेगा। वक्ताओं ने आगे कहा कि पंजाब एवं हरियाणा के किसानों का संघर्ष जो अब दिल्ली के सीमा पर आ गया है और यह एक ऐतिहासिक संघर्ष का रुप ले चुका है। वाम और धर्मनिरपेक्ष दलों के नेताओं ने मेहनतकश अवाम, छात्र नौजवानों सहित बुद्धिजीवियों, लेखकों, संस्कृति कर्मियों, शिक्षकों आदि मध्यमवर्गीय लोगों से अपील है कि इस ऐतिहासिक किसान आंदोलन के पक्ष में खड़े हों।
ये थे मौजूद
बैठक मे माकपा राज्य कमिटी सदस्य संजय पासवान, राजद के रामधन यादव, सुनील यादव, थानु दास, भाकपा के जिलामंत्री प्रकाश रजक, रामेश्वर यादव, माले के मोव इब्राहिम, संदीप कुमार, कौलेश्वर राणा, किसान सभा के असीम सरकार, सिविल सोसाइटी के उदय द्विवेदी, अशोक कुमार अकेला, जाहिद हुसैन सहित अन्य लोग उपस्थित थे।