बिहार की राजनीति में एक बार फीर हुई उठा पटक, नीतीश ने सीएम पद से दिया इस्तीफा
- राबड़ी देवी से मुलाकात के बाद महागठबंधन की सरकार बनाने का किया दावा
- कहा वर्ष 2017 मे ंहुई थी बड़ी भूल, जिसे सुधार रहे है वो
- भाजपा ने नीतिश कुमार को कहा धोखेबाज, एनडीए ही नही बल्कि बिहार की जनता को दिया धोखा
बिहार एक बार सियासी उठा पटक देखने को मिली है। भाजपा और जदयू का गठबंधन टूट गया है। सीएम नीतीश कुमार ने राज्यपाल फागू चौहान को अपना इस्तीफा सौंप दिया। इस्तीफा देने के बाद नीतीश कुमार सीधे राबड़ी देवी के आवास पर पहुंचे। जहां पर राजद के तेजस्वी यादव से वार्ता होने के बाद महागठबंधन की सरकार बनाने का दावा किया है। राज्यपाल से मिलने के पहले जदयू की हुई अहम बैठक में पार्टी के सभी विधायकों और सांसदों ने सीएम नीतीश कुमार के फैसले का समर्थन किया और कहा कि वे उनके साथ हैं।
इस क्रम में राबड़ी देवी व तेजस्वी यादव से मिलने के क्रम में कहा कि वर्ष 2017 में गठबंधन तोड़ना एक भूल थी। जिस बात का अफसोस है। कहा कि उसी भूल को सुधार कर बिहार की जनता के लिए एक बार फीर से नई शुरुआत की जाये।
इधर भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष जायसवाल ने प्रेसवार्ता कर कहा कि वर्ष 2020 में एनडीए को बिहार की जनता ने समर्थन दिया था और अधिक सीट लाने के बाद भी केन्द्रीय नेतृत्व ने वादें के मुताबिक नीतिश कुमार को सीएम बनाया था। कहा कि नीतिष कुमार ने न सिर्फ भाजपा को धोखा दिया है, बल्कि बिहार की जनता को भी धोखा दिया है।