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जमुआ के श्यामसिंह नावाडीह में ज्ञान विज्ञान समिति की हुई बैठक

  • बैठक में भारत के प्रधानमंत्री के नाम एक मांग पत्र बीडीओ को सोंपा
  • मनरेगा को कोरोना काल में गरीब मजदूरों के लिए बताया प्रभावकारी

गिरिडीह। गिरिडीह के प्रखंड इकाई जमुआ के द्वारा रविवार को ज्ञान विज्ञान समिति द्वारा ग्राम श्याम सिंह नावाडीह में प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना के अवधि विस्तार को लेकर एक्शन डे के रूप में मनाया गया। इस दौरान भारत के प्रधानमंत्री के नाम एक मांग पत्र प्रखंड विकास पदाधिकारी को सौंपा गया। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि ज्ञान विज्ञान समिति झारखंड के राज्य महासचिव विश्वनाथ सिंह ने कहा कि कोरोना काल में लॉकडाउन और महामारी के चलते लोगों का रोजी-रोटी पर संकट है। ऐसे समय में भूख और कुपोषण से निपटने वाली योजनाओं को ओर प्रभाव कारी बनाने की आवश्यकता है। मनरेगा जैसी योजना के माध्यम से भी ग्रामीण क्षेत्रों में दूसरे प्रदेशों से लौटकर आए मजदूरों को व्यापक पैमाने पर काम मिला है। ऐसे समय में मनरेगा में काम के दिनों की संख्या प्रति परिवार 200 दिन की जानी चाहिए। इससे ग्रामीण क्षेत्रों में आय के स्रोत बरकरार रहेंगे। कहा कि वर्तमान समय में मनरेगा मजदूरों को मात्र 194 रुपये मजदूरी दी जा रही है काफी कम है,कहा कि मनरेगा मजदूरों की मजदूरी दर भी बढ़ाने की आवश्यकता है।

प्रवासी मजदूरों के लिए मददगार साबित हुए मनरेगा

कार्यक्रम के दौरान प्रखंड समिति के कोषाध्यक्ष नुनदेव रविदास ने कहा कि इस योजना से इस महामारी में लोगों को काफी राहत मिली है और आगे भी इसकी जरूरत है। विशिष्ट अतिथि के रूप में मौजूद जिला अध्यक्ष मो. आलम अंसारी ने कहा कि झारखंड में प्रवासी मजदूरों की संख्या ज्यादा है। जिसमें डेढ़ से दो लाख लोग केवल गिरिडीह से हैं। ऐसे समय में यह योजना काफी मददगार साबित हुई है।

बैठक में थे उपस्थित

कार्यक्रम की अध्यक्षता समिति के प्रखंड अध्यक्ष रोहित कुमार दास ने की और संचालन बुनियादी सभा धरमपुर के सचिव उमेश यादव ने किया। कार्यक्रम में मुख्य रूप से मोहम्मद जहीरूद्दीन, पंकज कुमार वर्मा, हेमलाल दास, रंजीत यादव, प्रदीप विश्वकर्मा, राजू दास, मोहम्मद सद्दाम हुसैन, जुनेद आलम, एसरार आलम आदि कई लोग उपस्थित रहे।

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