कैलाश राय सरस्वती विद्या मंदिर में आचार्य का सम्मान समारोह का हुआ आयोजन
- शिक्षक कभी नही होते सेवानिवृत: सचिव
कोडरमा। झुमरी तिलेया स्थित कैलाश राय सरस्वती विद्या मंदिर में सोमवार को आचार्य शैलेश कुमार के सेवानिवृत होने पर सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम की शुरूआत मॉ सरस्वती और भारत माता के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित समिति के उपाध्यक्ष अरविन्द चौधरी, सचिव नारायण सिंह, कोषाध्यक्ष नवल कुमार, सदस्य कुंज बिहारी त्रिवेदी, बीएल शर्मा और प्रचार्य शर्मेन्द्र कुमार साहू ने संयुक्त रूप से किया। कार्यक्रम में विद्यालय प्रबंध समिति के साथ-साथ आचार्य एवं छात्रों ने उपहार देकर सम्मानित किया। प्रबंध समिति और आचार्याे के द्वारा अंग वस्त्र के साथ सम्मान पत्र भी दिया। कार्यक्रम के शुरूआत में बहन अंशु कुमारी और शीतल कुमारी ने प्रस्तुत किया। जबकि विदाई गीत आयुषी और नेहा कुमारी ने किया।
मौके पर सचिव नारायण सिंह ने कहा कि शिक्षक कभी सेवा निवृत नहीं होते। उनका ज्ञान विद्यालय के साथ-साथ आस-पडोस के बच्चों को बेहतर शिक्षा देने के काम आता है। उन्होनें कहा कि शिक्षा के बिना मानव अधुरा है। उन्होनें सेवा निवृत शिक्षक शैलेश कुमार के बेहतर भविष्य की कामना की और कहा कि अब वे परिवार के साथ जिंदगी व्यतीत करेेगें। वहीं उपाध्यक्ष अरविन्द चौधरी ने कहा कि शिक्षक व सडक जहां होते हैं वहीं के होकर रह जाते हैं। लेकिन शिक्षक और सड़क मानव को उसकी मंजिल तक पहुुंचाने का कार्य करते हैं। उन्होेने कहा कि आचार्य शैलेश कुमार ने 24 वर्षाे तक कई भैया बहनों को संस्कारी शिक्षा देने का कार्य किया। वहीं प्राचार्य शर्मेन्द्र कुमार साहु ने कहा कि विधा भारती के विद्यालयों के गुरू शिष्य के संबंध मजबूत आधार प्रदान किया जाता है।
सेवा निवृत आचार्य शैलेश कुमार ने अपने संबोधन में कहा कि मनुष्य के लिए कोई भी कार्य कठिन नहीं है। उन्होनें कहा कि शुरूआती दौर में वे उपचालक की भूमिका भी निभायी और आज विद्या भारती 24 वर्षाे कीे सेवा के बाद सेवानिवृत हो रहे हैं। उन्होनें यह भी कहा कि भविष्य में विद्या भारती के बच्चों को पढाने का कार्य करेगेें। आज उनके द्वारा पढाये गये कई छात्र देश और विदेश में अलग -अलग क्षेत्रों में कार्य कर रहे हैं।
इस अवसर पर आचार्य की ओर चंद्रशेखर कुमार और शर्मिष्ठा पाल ने भी अपने विचार रखें। वहीं अतिथियों के परिचय डॉ धीरेन्द्र कुमार सिंह मंच संचालन प्रदीप कुमार ने किया जबकि धन्यवाद ज्ञापन नीरज कुमार ने किया। इस अवसर पर आचार्य रामानुज पांडेय , बिरेन्द्र प्रसाद, विजय मिश्र, कृष्ण कुमार नवी, संजय महतो, उमाशंकर कुमार, दिीपक विश्वकर्मा चेतलाल राम, पवन शर्मा,प्रभात सौरव, विपन कुमार , टिंकु कुमार रानी प्रसाद, श्वेता श्रीवास्तव, सोनी कुमारी आदि उपस्थित थे। कार्यक्रम का समापन कल्याण मंत्र के साथ हुआ।