पूर्णाहुति के साथ संपन्न हुआ 24 कुंडीय गायत्री महायज्ञ
- श्रद्धालुओं की उमड़ी भीड़, दीप यज्ञ से रौशन हुआ यज्ञ स्थल
- देश को संपत्तिवान के साथ-साथ संस्कारवान पीढ़ी की जरूरत: श्री परमेश्वर
गिरिडीह। सदर प्रखंड के लेदा में विगत चार दिनों से आयोजित 24 कुंडीय गायत्री महायज्ञ रविवार को पूर्णाहुति के साथ संपन्न हो गया। महायज्ञ के अंतिम दिन भारी संख्या में श्रद्धालुओं ने अपने हाथों से यज्ञ भगवान को आहूतियां प्रदान की। पिछले शाम को विराट दीप महायज्ञ का आयोजन किया गया। जिसमें 1008 दीपक जलाकर गांव को प्रकाशित किया गया। इस क्रम 50 मुंडन संस्कार, 70 विद्यारंभ संस्कार, 4 पुंसवन संस्कार, 3 नामकरण संस्कार, 4 अन्नप्राशन, संस्कार दो बच्चे का जन्मदिन संस्कार मनाया गया। साथ ही 200 लोगों ने गायत्री महामंत्र की दीक्षा ग्रहण की ओर प्रतिदिन मनुष्य मात्र के कल्याण हेतु तीन माला गायत्री महामंत्र जप का संकल्प लिया।

गायत्री तीर्थ शांतिकुंज हरिद्वार से पधारे शांतिकुंज प्रतिनिधि श्री परमेश्वर ने कहा कि इस संसार में दो महत्वपूर्ण जीवन तत्व है एक का नाम है संस्कार जिसके अंतर्गत मनुष्य जीवन को महान बनाने के लिए इस देश के ऋषियों ने 16 संस्कार बताएं है। यदि सभी संस्कार विधिवत् यज्ञीय वातावरण में संपन्न हो जाएं तो बच्चा भविष्य में महात्मा गांधी, स्वामी विवेकानंद, शिवाजी, बंदा बैरागी, रामकृष्ण परमहंस, पंडित मदन मोहन मालवीय एवं पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य बन सकता है। वहीं संपत्ति अर्जित करले तो टाटा, बिरला बन सकता है। कहा कि आज इस देश को संपत्तिवान के साथ-साथ संस्कारवान पीढ़ी की जरूरत है। चिंतन चरित्र एवं श्रेष्ठ व्यवहार वाले व्यक्ति से ही मानवता को बचाया जा सकता है एवं राष्ट्र को सशक्त बनाया जा सकता है।

24 कुंडीय गायत्री के अंतिम दिन लोगों ने यह संकल्प लिया कि हम सन्मार्ग पर चलेंगे, स्वच्छता को अपनाएंगे एवं अपने गांव को नशा मुक्त करने का प्रयास करेंगे साथ ही प्रत्येक वर्ष इस तरह का आयोजन अपने गांव में करेंगे।
महायज्ञ को सफल बनाने में जिला प्रमुख कामेश्वर सिंह, राजेश कुमार राम, सहदेव प्रसाद कुशवाहा, सहदेव महतो, दशरथ महतो, राजेंद्र प्रसाद वर्मा, बासुदेव नारायण सिंह, जय प्रकाश राम, संजय राम, राजेश कुमार वर्मा सहित लेदा गांव सहित आस-पास के गांव के लोगों का सहयोग प्राप्त हुआ।