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पथ प्रमंडल की कोई ऐसी योजना नहीं, जिसमें नहीं मिलती गड़बड़ी की शिकायत, भेलवाघाटी के ग्रामीणों ने पुल निर्माण में लगाया गड़बड़ी का आरोप, नहीं सुने हुक्ुमरान और पदाधिकारी

गिरिडीहः
गिरिडीह पथ प्रमंडल के कोई ऐसी योजना नहीं, जिसमें गड़बड़ी की शिकायत विभागीय पदाधिकारियों तक नहीं पहुंच रहा। हालात ऐसे है कि ग्रामीण शिकायत कर थक जा रहे है लेकिन ना तो हुक्ूमरान ही सुन रहे है और ना ही विभाग के वरीय अधिकारी। स्थिति यही तक सीमित नहीं है क्योंकि जनप्रतिनिधी भी जनता की शिकायत को बेकार का समझ, उसे अनसुना कर रहे है। फिलहाल बात हो रही है गिरिडीह के भेलवाघाटी का। जहां फतेहपुर मोड़ से लेकर बिहार के जमुई जिले के सीमावर्ती क्षेत्र बोंगी वाया भेलवाघाटी के अरगा नदी में पुल का निर्माण हो रहा है। ग्रामीणों की सुविधा के लिए निर्माण कार्य हो रहा है। यहां तक तो ठीक है लेकिन ग्रामीणों का आरोप है कि पुल निर्माण के स्टीमेट के अनुसार निर्माण कार्य नहीं हो रहा है। क्योंकि निर्माण कार्य में बेहद घटिया क्वालिटी का टीएमटी इस्तेमाल किया जा रहा है तो ढिबरायुक्त बालू का इस्तेमाल किया जा रहा है। इतना ही नही स्टोन भी बेहद घटिया क्वालिटी का है।

लिहाजा, ग्रामीणों में रामदेव तूरी, श्याम सुंदर साव, जोगी तूरी समेत कई ग्रामीणों ने पथ प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता को पत्राचार कर पुल निर्माण कार्य रोकने का मांग किया है। जबकि ग्रामीणों ने कहा कि अगर जल्द ही निर्माण कार्य नहीं रोका गया, तो ग्रामीण आंदोलन के लिए मजबूर होगे। और अपने स्तर से निर्माण कार्य को बाधित करेगें।

क्योंकि बिहार-झारखंड के गिरिडीह-जमुई का यह पुल दोनों जिलों में आवागमन के लिए बेहद महत्पूर्ण है। ऐसे में इस महत्पूर्ण पुल के निर्माण कार्य में लापरवाही स्थानीय ग्रामीण बरर्दाश्त नहीं करने वाले। इधर मामले को लेकर जब पथ प्रमंडल के पदाधिकारियों से संपर्क किया गया। लेकिन किसी पदाधिकारी ने कॉल तक रिसीव नहीं किया। और ना ही कार्यपालक अभियंता राजेन्द्र प्रसाद ने कॉल रिसीव किया।

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